रायपुर। जंगल सफारी में पिछले दो वर्षों से एकाकी जीवन व्यतीत कर रही मादा हिमालयन भालू के लिए नर हिमालयन भालू लाने की तैयारी चल रही है। भालू लाने सफारी प्रबंधन ने दार्जिलिंग स्थित पद्मजा नायडू हिमालयन जूलॉजिकल पार्क तथा नागालैंड, कोहिमा जू प्रबंधन से संपर्क किया है। गौरतलब है, जंगल सफारी में दो वर्ष पूर्व असम, गुवाहाटी स्थित जू से जंगल सफारी ने मादा हिमालयन भालू लाई गई थी। सफारी में मादा भालू लाने के बाद से सफारी प्रबंधन ने उसके लिए नर साथी की तलाश शुरू कर दी थी। दो वर्षों की तलाश के बाद सफारी प्रबंधन को देश के अलग-अलग राज्यों में हिमालयन भालू होने की जानकारी मिली। इसके बाद सफारी प्रबंधन ने उनके साथ पत्राचार किया, लेकिन उन्होंने हिमालयन भालू देने से इनकार कर दिया। नागालैंड स्थित कोहिमा जू में हिमालयन भालू होने की जानकारी मिलने के बाद वन अफसरों ने वहां के जू प्रबंधन से हिमालयन भालू देने की मांग की। कोहिमा जू प्रबंधन ने इसके बदले सफारी प्रबंधन से बाघ देने की मांग की। वन अफसरों के बीच वन्यजीवों की अदला-बदली होने की बात चल ही रही थी कि सफारी प्रबंधन को दार्जिलिंग स्थित जू में हिमालयन भालू होने की जानकारी मिली। तब सफारी प्रबंधन ने वहां के जू प्रबंधन से भी चर्चा की। सफारी प्रबंधन के मुताबिक दार्जिलिंग स्थित पद्मजा नायडू जू ने हिमालयन भालू के बदले में दो जोड़ी चौसिंघा देने की मांग की है। बताया जा रहा है, जंगल सफारी प्रबंधन हिमालयन नर भालू के बदले दो जोड़ी चौसिंघा देने को तैयार हो गया है। वन अफसरों ने हिमालयन भालू लाने सेंट्रल जू अथॉरिटी (सीजेडए) से अनुमति मांगी है। वहां से अनुमति मिलने के बाद हिमालयन भालू लाने की प्रक्रिया शुरू की जाएगी।
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